सोमवार, 9 मई 2011

गंभीर बीमारी का संकेत भी हो सकता है सिरदर्द

सिरदर्द से हर कोई अपने जीवन में कभी न कभी पीड़ित होता है लेकिन इसे न तो गंभीरता से लिया जाता है और न ही इसके समुचित इलाज पर ध्यान दिया जाता है। इस समस्या के कारण दिनर्चया बुरी तरह प्रभावित हो सकती है। डॉ. कुमुद महाजन ने बताया, वैश्वीकरण के इस दौर में व्यस्तता भरी जीवनशैली के कारण लोगों में सिरदर्द एक आम समस्या बन गया है और इसका मुख्य कारण तनाव होता है जिससे आज के हालात में कोई नहीं बच पाता। कई मामलों में सिरदर्द गंभीर बीमारी का संकेत भी होता है लेकिन लोग इस तकलीफ की अक्सर उपेक्षा करते हैं। उन्होंने कहा कि उच्च रक्तचाप से पीड़ित होने पर भी सिरदर्द की समस्या सामने आ सकती है। मस्तिष्क में ट्यूमर होने से भी सिरदर्द होता है, हालांकि ऐसे मामले बहुत कम रहे हैं। दृष्टिदोष, कम रक्तचाप, सर्दी होने अथवा साइनस गुहाओं में सूजन से भी यह तकलीफ हो सकती है। डॉ. वी के गोयल ने बताया कि माइग्रेन की वजह से होने वाला सिरदर्द आनुवांशिक होता है जिसमें पर्यावरण संबंधी कारकों की अहम भूमिका होती है। लेकिन तनाव के कारण सिरदर्द किसी को भी हो सकता है। इससे दिनर्चया भी प्रभावित हो सकती है। हम कह सकते हैं कि सिर में दर्द के 40 फीसद मामलों के पीछे कारण माइग्रेन या तनाव होता है। सिरदर्द के मूल कारण का पता लगा कर इलाज जरूरी होता है वरना समस्या लाइलाज बन सकती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने हाल ही में सिरदर्द पर एक रिपोर्ट एटलस आफ हेडेक डिसऑर्डर्स एंड रिसोर्सेज इन द र्वल्ड 2011 जारी की है। अपनी तरह की इस पहली रिपोर्ट में कहा गया है कि सिरदर्द की समस्या बढ़ रही है पर इसे गंभीरता से नहीं लिया जाता। यहां तक कि स्नातक स्तर के औपचारिक चिकित्सा प्रशिक्षण के दौरान भी सिरदर्द के बारे में अध्यापन के लिए केवल चार घंटे का समय नियत होता है। रिपोर्ट के अनुसार, 18 फीसद देशों से मिले प्रमाणों से पता चलता है कि सिरदर्द के मामले बढ़ते जा रहे हैं। लेकिन इससे पीड़ित लोगों में से करीब 50 फीसद लोग किसी चिकित्सक से संपर्क करने के बजाय अपना इलाज खुद ही कर लेते हैं। डा. शशि जैन ने कहा कि सिरदर्द से बचने के लिए व्यक्ति को तनाव से बचना चाहिए। तनाव के कारण कंधों, गर्दन और खोपड़ी की मांसपेशियों में संकुचन होता है जिससे सिरदर्द की समस्या सामने आती है। तनाव दूर करने के लिए सुबह टहलना और ध्यान आदि व्यायाम करना चाहिए। इसके अलावा मल्टीविटामिन और एंटीआक्सिडेंट दवाइयां ली जा सकती हैं। सिरदर्द से बचने के लिए व्यक्ति को तनाव से बचना चाहिए(राष्ट्रीय सहारा,दिल्ली,9.5.11)।

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