आकर्षक व्यक्तित्व में चेहरे पर चमक का सबसे अहम भूमिका निभाता है। ऐसे में चेहरे का ठीक से ध्यान रखने के लिए अच्छे खाने के साथ-साथ प्राणायाम फायदेमंद रहता है। सीत्कारी प्राणायाम के नियमित अभ्यास से कुछ ही दिन में आपका चेहरा चमक उठेगा।
सीत्कारी प्राणायाम की विधि:
सीत्कारी प्राणायाम में सीत्कार का शब्द करते हुए सांस लेने की क्रिया होती है। इस प्राणायाम में नासिका से सांस नहीं ली जाती है बल्कि मुंह के होठों को गोलाकार बना लेते हैं और जीभ के दाएं और बाएं के दोनों किनारों को इस प्रकार मोड़ते हैं कि जीभ का का आकार गोलाकार हो जाए। इस गोलाकार जीभ को गोल किए गए होठों से मिलाकर इसके छोर को तालू से लगा लिया जाता है। अब सीत्कार के समान आवाज करते हुए मुख से सांस लें। फिर कुंभक करके नाक के दोनों छेदों से सांस छोड़ी जाती है। पुन: इस क्रिया को दोहराएं। इसे बैठकर या खड़े होकर भी किया जा सकता है।
सीत्कारी प्राणायाम के लाभ:
इस प्राणायाम से आपके चेहरे पर चमक उत्पन्न हो जाती है। दिनभर स्फूर्ति और उत्साह बना रहता है। इसके नियमित अभ्यास से अनेक प्रकार की सिद्धियां प्राप्त होती है। नींद न आना, आलस और भूख-प्यास की समस्या खत्म हो जाती है। चेहरे की झुर्रियां समाप्त होकर त्वचा सुंदर बन जाती है(दैनिक भास्कर,उज्जैन,4.2.11)।
बहुत आभार इस जानकारी का...
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